जौनपुर : बजट के माध्यम से लगाई गई है सरकारी महासेल- लालबहादुर
जौनपुर।
विश्व प्रकाश श्रीवास्तव
तहलका 24×7
पहली बार भारत में बजट में इस तरह से सरकारी संपत्तियों की सरकारी “महा सेल” लग रही है उक्त तीखी प्रतिक्रिया समाजवादी पार्टी के जिलाध्यक्ष लालबहादुर यादव ने प्रेस विज्ञप्ति के माध्यम से देते हुए कहा कि जहाँ आज लोग आशा लगायें थे की इस बजट मे किसानों के लिए बड़ा ऐलान होगा लेकिन देश के किसानों के लिए 16.5 लाख कृषि ऋण को प्रावधान किया गया हैं किंतु किसानों की आय बढाने की लिए वित्त मंत्री से ठोस गेम चेंजर योजना की उम्मीद थी किंतु अब तो यही कहा जा सकता कि 2022 तक किसानों की आय दुगना होना तो अब दूर की कौड़ी है हां किसानों का कर्ज निश्चित रुप से जरूर दुगनी होता दिख रही है।
श्री यादव ने कहा कि कृषि से जरूरी ढांचागत पूजी निवेश के लिए बजट में राशि आवंटन के बजाय भविष्य में इसके लिए एक फंड स्थापित कर डेढ़ लाख करोड़ रुपए जुटाने का आश्वासन दिया है। खेती के लिए सकल बजट आवंटन लगभग 7% की कमी की गई है वहीं किसान सम्मान निधि के लिए प्रावधान इस राशि में भी लगभग 13% की कमी कटौती की गई है।
और आगे कहा कि न्यूनतम समर्थन मूल्य में पहले की भांति डेढ़ गुना बढ़ोतरी करने की तोता रटंत बात तो की गई किंतु बेहद जरूरी स्वामी नाथन कमेटी की तर्क संगत अनुशंसा सीटू प्लस फार्मूले की आधार पर कृषि लागत गणना करने की बात अभी भी नहीं की गई। देश के हर नागरिक पर ऋण पिछले कुछ सालों में बढ़कर लगभग दुगनी हो गई है और अंत में यह पेपर लेश बजट उद्घोष करता हुआ नजर आया कि सार्वजनिक संपत्तियां को बेचकर आर्थिक संसाधन जुटाने की बात की जा रही है।
अब एयरपोर्ट बिकेगा, सड़कें बिकेगी, बिजली ट्रांसमिशन लाइन, रेलवे का डेडीकेटेड फ्रेट कॉरिडोर के हिस्से, गेल, इंडियन आयल की पाइप लाइन और स्टेडियम भी बिकेंगे, वेयरहाउस वगैरह सब कुछ बेचेगी। सरकार ने अगर यह तीनों कानून रद्द नहीं हुए तो इस देश के खेत खलियान भी बहुराष्ट्रीय कंपनियों के हाथों कौड़ियों में बिक जाएगा।
Feb 02, 2021