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Thursday, April 25, 2024

परीक्षा से घबराने की नहीं, तैयार रहने की जरूरत…

परीक्षा से घबराने की नहीं, तैयार रहने की जरूरत…

स्पेशल डेस्क।
रविशंकर वर्मा 
तहलका 24×7 
                यू.पी.बोर्ड/ सी.बी.एस.ई. बोर्ड ने परीक्षा की तिथियों का ऐलान कर दिया है। बोर्ड का नाम सुनते ही दिल दिमाग में एक विचार अनायास ही आ जाता है कठोर मेहनत के साथ पूरी तरह से प्रतिबद्ध अध्ययन। अगर इतिहास पर ध्यान दिया जाए तो बोर्ड का प्रतिवर्ष आने वाला परिणाम काफी संतोषजनक रहता है। फिलहाल इस बार की बोर्ड परीक्षाओं में बैठने वाले छात्र-छात्राओं के लिए यह वर्ष काफी महत्वपूर्ण रहने वाला है। उनकी वर्ष भर की मेहनत का नतीजा उनको उनकी काबिलियत और कार्य के बल पर मिलना तय होगा।
कोरोना काल के बाद से ही पाठ्यक्रम को कम करना या प्रश्न पत्रों को और अधिक सुगम बनाना ये सब कार्य सरकार, शासन तथा बोर्ड द्वारा बड़ी दक्षता से किया जा रहा है। सीसीटीवी युक्त कमरे, आधुनिक स्ट्रांग रूम, ऑनलाइन माध्यम से कंट्रोल रूम से कनेक्टिविटी यह सब आवश्यक कार्य बोर्ड ने समय से पूर्ण करवा लिए हैं। छात्र-छात्राओं के भविष्य को सुरक्षित रखने के साथ ही परीक्षा को शुचितापूर्ण व नकल विहीन बनाने के लिए ठोस कदम उठाए गए हैं। इन आधुनिक बदलावों का विद्यार्थियों पर सकारात्मक प्रभाव होगा। ऐसी उम्मीद की जा रही है।

# कैसे करें तैयारी?

छात्र-छात्राओं को बोर्ड परीक्षा की तैयारी कैसे करनी चाहिए, यह एक जरूरी पहलू है। इसके लिए इन चार बिंदुओं पर भी गौर किया जाना आवश्यक है। 
1. सभी विद्यार्थी पूरे वर्ष में अपने द्वारा पढ़े गए पाठ्यक्रम का दोहरान जरूर कर लें। यदि कोई विषय या प्रकरण पढ़ने से अछूता रह गया हो तो उसको समराइज करके विशेष रूप से तैयार करें।
2. कभी भी शुरुआत संभव है, इसलिए अगर आपने अभी तक कोई भी तैयारी नहीं की है तो आज और अभी से शुरुआत करें। एक तय दिनचर्या बनाकर अध्ययन को पूरा समय दें। यदि पूर्ण मनोयोग से ऐसा करते हैं तो निश्चित रूप से आप परीक्षा की तैयारी कर पाएंगे।
3. चीजों को रटने की बजाय उनको समझने की कोशिश करें। सभी का बौद्धिक स्तर व कार्य करने की शैली अलग होती है। अतः आप अपने लिए स्वयं ही सही तरीके का चुनाव करें। लिखकर याद करने, बोल बोल कर पढ़कर याद करने और बार-बार अभ्यास करने पर आप मुश्किल से मुश्किल विषयों, प्रश्नों या प्रकरणों को याद कर सकते हैं।
4. सभी विषयों को पढ़ लेने के बाद आप अपने लिए सभी विषयों की पॉइंट बेस समरी तैयार करें। इस समरी को रोज दोहराते रहें। विश्वास रखें कि ऐसा करने पर आप बदलाव के साथ आत्मविश्वास को महसूस करेंगे। अति महत्वपूर्ण व कठिन प्रकरणों को भी तैयार करने के लिए नित्य दोहराने वाली प्रक्रिया कारगर सिद्ध होती है।

# कैसे मिलेगी सफलता?

किसी भी कार्य या परीक्षा में सफलता आपके मन व आंतरिक शक्ति पर निर्भर करती है। एक निश्चित स्ट्रेटजी बनाकर अपने लक्ष्य को ध्यान में रखते हुए उसके अनुरूप कार्य करें। अध्ययन का कोई अन्य विकल्प नहीं होता, इसलिए उसे सरल व मनोरंजक बनाकर उसमें रूचि पैदा करें। आजकल कैप्सूल कोर्स, टेस्ट सीरीज, क्वेश्चन बैंक, वन वीक सीरीज, शॉर्ट नोट्स आदि आसानी से उपलब्ध हैं। आप भी इन सभी चीजों का उपयोग करते हुए अपनी तैयारी को मजबूत बना सकते हैं। अध्ययन के समय यदि कोई चैप्टर, प्रकरण या टॉपिक छूट गया तो उस विषय वस्तु को अपने शिक्षक से या अन्य किसी ऑनलाइन माध्यम से जरूर समझ लें। अपने अध्यापकों के संपर्क में रहकर अपने एग्जाम पैटर्न, महत्वपूर्ण प्रश्नों आदि पर भी नजर बनाए रखें।
एक सूची बना लें, जिसमें सभी विषयों के महत्वपूर्ण प्रश्नों का समावेश हो। इसको हल करने में अपने शिक्षकों, सहपाठियों, बड़ी कक्षा के छात्र छात्राओं, पुराने प्रश्न पत्रों के साथ ही अपने अभिभावकों की मदद लें। परीक्षा में उत्तर लिखने के कौशल को सीखने का प्रयास करें तथा परीक्षा से पूर्व ऐसा करने का बार-बार अभ्यास करें।

# सावधानियाँ

अनावश्यक पाठ्यवस्तुओं को पढ़ने में समय व्यर्थ ना करें। कठिन प्रकरणों को सुलझाने में उलझकर सरल विषयों को नजरअंदाज न करें। सभी विषय अपने स्थान पर महत्वपूर्ण हैं। सभी विषयों को समान महत्व दें। यदि आप चाहें तो आप कठिन विषयों और प्रकरणों को छांटकर एक अलग समय देकर उनके निवारण का प्रयास कर सकते हैं।
अपने कोर्स को प्रतिशत में तैयार करते हुए आगे बढ़ें। सबसे पहले सभी विषयों का 40% कोर्स अच्छे से तैयार कर लें। ऐसा कर लेने पर आपके अंदर आत्मविश्वास पैदा होगा। इसके बाद 70% कोर्स को तैयार करने का प्रयास करें। सावधानी बरतें की किसी एक विषय को लगातार पूरा बढ़कर 100% तैयार करने का प्रयास न करें। सभी विषयों को समान प्रतिशत में पढ़ते हुए 100% तैयारी हो जाने तक मेहनत जारी रखें।
देखा देखी न करें। अगर आप देख रहे हों कि आपके ही कुछ सहपाठी मौज मस्ती कर रहे हैं, घूम रहे हैं, खेल रहे हैं तो संभव है कि यह उनकी तैयारी के बीच का खेल का समय हो या यह भी संभव है कि आपके वे साथी अपनी पढ़ाई के प्रति लापरवाह हों। आपको भी अपनी दिनचर्या में पढ़ाई के साथ-साथ खेलकूद व मनोरंजन को शामिल करना चाहिए। ऐसा करना आपके स्वस्थ मस्तिष्क के लिए जरूरी है। अच्छे अध्ययन के लिए स्वस्थ मस्तिष्क का होना आवश्यक है।
पढ़ाई से दूरी ना बनाएँ, उसको बोझ समझकर अपने ऊपर हावी ना होने दें। अध्ययन को अपने कर्तव्य की तरह जीवन के अच्छे पक्ष के रूप में स्वीकार करें।  परीक्षा की तैयारी घबराहट में नहीं बल्कि शांत चित्त व मन से करने की कोशिश करें। आपका रिजल्ट सिर्फ आपका एक एकेडमिक ग्राफ है। इसे बेहतर बनाते रहने का प्रयास करें। लेकिन आपका रिजल्ट आशानुरूप नहीं भी आता है तो निराश होने की कोई जरूरत नहीं होती है। क्योंकि रिजल्ट बस एक नंबर प्रणाली है, जो आपके उस साल के शैक्षणिक स्तर को बताता है। इसे भविष्य में पुनः प्रयास करके ठीक भी किया जा सकता है।
एक बेहतर तैयारी के साथ अपने सिलेबस को पढ़ने के बाद निडर होकर बोर्ड परीक्षा देने जाएं। परीक्षा देते समय सरल प्रश्नों को पहले हल करते हुए भयमुक्त रहकर अपना बेहतर प्रदर्शन करने की कोशिश करें।
राहुल राज मिश्रा (अध्यापक)
राजकीय उच्चतर माध्यमिक विद्यालय
सवायन- जौनपुर 

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