24.1 C
Delhi
Thursday, April 25, 2024

‘मोपला दंगे ! हिन्दू नरसंहार के 100 वर्ष’ विषयक पर ‘ऑनलाइन’ विशेष संवाद

‘मोपला दंगे ! हिन्दू नरसंहार के 100 वर्ष’ विषयक पर ‘ऑनलाइन’ विशेष संवाद

# केरल में मोपला का दंगा ‘जिहाद’ ही था- अधिवक्ता कृष्ण राज

स्पेशल डेस्क।
संजय शुक्ल
तहलका 24×7
                      ‘1921 में हुए मोपला के दंगे की पृष्ठभूमि पहले विश्‍वयुद्ध से ही है। इस दंगे में सरकारी कर्मचारी, पुलिस और तत्कालीन अंग्रेज सैनिकों पर आक्रमण किए गए और हिन्दुओं का बड़ा नरसंहार किया गया। यह दंगा लगभग छः महीने चला। जिहादियों ने यह हमारा आंदोलन था और यह हमारी विजय थी, ऐसी घोषणा की; परंतु यह आंदोलन नहीं था, अपितु वह हिन्दुओं का नरसंहार ही था। ‘मोपला दंगे में मुसलमानों ने हिन्दुओं पर अत्याचार किए; परंतु ‘हिन्दू मुसलमान एकता के लिए’ हिन्दू ये अत्याचार सहन करें’ ऐसे अनेक धक्कादायक वक्तव्य मोहनदास गांधी ने दिए थे। मोपला दंगा ‘जिहाद’ का ही एक भाग था, किंबहुना दंगाखोरों ने यह ‘जिहाद’ ही है, यह स्वीकार किया था’, ऐसा प्रतिपादन उच्च और सर्वोच्च न्यायालय के अधिवक्ता कृष्ण राज ने किया। वे हिन्दू जनजागृति समिति द्वारा आयोजित ‘मोपला दंगे : हिन्दू नरसंहार के 100 वर्ष !’ इस ‘ऑनलाइन’ विशेष संवाद में बोल रहे थे।
‘दि धर्म डिस्पैच’ के संस्थापक- संपादक और लेखक संदीप बालकृष्ण ने इस समय कहा कि, खिलाफत आंदोलन के नाम पर अली बंधुओं ने अंग्रेजों के विरोध में ‘जिहाद’ पुकारकर मुसलमानों को एकत्रित किया। अंग्रेजों ने अली बंधुओं को बंदी बनाने के उपरांत मोपला में मुसलमानों ने भयानक नरसंहार किया। इन मोपलों ने केवल दंगे ही नहीं किए, अपितु सुनियोजित पद्धति से हिन्दुओं का सामूहिक हत्याकांड किया। इस दंगे में मुसलमान महिलाएं भी सम्मिलित थीं। खेद की बात यह है कि मोपलाओं के इस नरसंहार को इतिहास में इसे ‘मुसलमानों द्वारा अंग्रेजों के विरोध में कार्यान्वित आंदोलन’ लिखा गया और केरल की पाठ्यपुस्तकों में भी यह सिखाया गया, परंतु अब इससे संबंधित वास्तविकता सामने आ रही है।
अन्नपूर्णा फाउंडेशन के अध्यक्ष बिनिल सोमसुंदरम ने कहा कि, ‘मोपला नरसंहार में उजागर रूप से हिन्दुओं पर अत्याचार किए गए। इस्लामी सत्ता स्थापित करने के लिए ये दंगे किए गए थे। मोपला दंगे के 100 वर्ष पूर्ण होने के निमित्त केरल के हिन्दूओं ने इस दंगे में प्राण खोए हुए पूर्वजों का श्राद्ध किया तथा विविध माध्यमों से जागृति करने का प्रयत्न किया। वर्ष 2018 से शबरीमला आंदोलन के समय से केरल का हिन्दू समाज बिना किसी राजकीय समूह अथवा अन्य किसी का समर्थन न होते हुए भी अब जागृत हो गया है।
हिन्दू जनजागृति समिति के राष्ट्रीय प्रवक्ता रमेश शिंदे ने कहा कि, हमारे देश में झूठा प्रचार करने का प्रयत्न किया जाता है। गोधरा और मुंबई में ही दंगे हुए, ऐसा बताया जाता है। हिन्दू जब आक्रमण का प्रतिकार करते हैं, तब हिन्दुओं को आतंकवादी कहा जाता है। विदेशी इतिहासकार स्टेफन डेल ने ‘मोपला दंगा ‘जिहाद’ था’, ऐसा लिखा है। डॉ. आंबेडकर ने भी ‘पाकिस्तान ऑर द पार्टिशन ऑफ इंडिया’ इस पुस्तक में लिखा है कि, मोपला के दंगे मुसलमानों ने किए थे। 1920 में खिलाफत समिति की स्थापना प्रथम केरल के मलबार में की गई, ऐसा भी उन्होंने कहा था। अंग्रेजों के समय के जिलाधिकारी सी. गोपालन नायर ने भी अपने प्राथमिक अहवाल में इस मोपला दंगे का वर्णन किया है। ऐसा होते हुए भी ‘मोपला दंगे’ का इतिहास छिपाने का प्रयत्न किया जाता है, जिससे हिन्दू समाज अभी भी भ्रम में रहेगा। हिन्दुओं को सतर्क और जागृत रहना चाहिए।

तहलका संवाद के लिए नीचे क्लिक करे ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓ ↓

लाईव विजिटर्स

37091778
Total Visitors
531
Live visitors
Loading poll ...

Must Read

Tahalka24x7
Tahalka24x7
तहलका24x7 की मुहिम..."सांसे हो रही है कम, आओ मिलकर पेड़ लगाएं हम" से जुड़े और पर्यावरण संतुलन के लिए एक पौधा अवश्य लगाएं..... ?

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here

गांवों में पहुंची श्रीकला धनंजय जानी लोगों की समस्या 

गांवों में पहुंची श्रीकला धनंजय जानी लोगों की समस्या  # कहा क्षेत्र का विकास ही पहली प्राथमिकता, अग्नि पीड़ितों से...

More Articles Like This