10 हजार का इनामी पूर्व कुलपति रिश्तेदार के घर से गिरफ्तार
भोपाल।
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राजीव गांधी प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय में 19.48 करोड़ रुपये के घोटाले के आरोपी तत्कालीन कुलपति प्रो. सुनील कुमार को पुलिस ने रायपुर से गिरफ्तार किया है। राजधानी भोपाल के गांधी नगर थाने में उनके खिलाफ तीन मार्च को एफआईआर दर्ज हुई थी, जिसके बाद से वह फरार हो गए थे। आरोपी पूर्व कुलपति पर 10 हजार रुपये का इनाम घोषित था। मामले की जांच के लिए विशेष अनुसंधान दल का गठन किया गया है।
एसआईटी प्रमुख एवं एसीपी बैरागढ़ अनिल शुक्ला ने बताया कि प्रोफेसर सुनील कुमार की लोकेशन पर लगातार नजर रखी जा रही थी। रायपुर में होने की सूचना मिलने पर भोपाल से पहुंची पुलिस टीम ने उन्हें हिरासत में ले लिया। वह अपने एक रिश्तेदार के घर पर छिपे हुए थे।मामले में तत्कालीन कुलसचिव आरएस राजपूत और पूर्व वित्त नियंत्रक ऋषिकेश वर्मा की तलाश में पुलिस लगातार दबिश दे रही है।
प्रो. सुनील कुमार ने एक अप्रैल को भोपाल कोर्ट में अग्रिम जमानत की मांग वाली याचिका दाखिल की थी, जिसपर दो अप्रैल को सुनवाई हुई और अदालत ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया।इसके बाद तीन अप्रैल को पूर्व कुलपति की ओर से प्रस्तुत की गई दलीलें खारिज करते हुए अदालत ने उनकी अग्रिम जमानत आवेदन को रद्द कर दिया था। आरोपी तत्कालीन कुलसचिव ने भी अग्रिम जमानत की मांग की थी, लेकिन उनका आवेदन भी कोर्ट ने 12 मार्च को खारिज कर दिया था।
एसआइटी ने मामले में सबसे पहले आरबीएल बैंक के तत्कालीन मैनेजर कुमार मयंक को अहमदाबाद से गिरफ्तार किया था। रिमांड पर पूछताछ करने के बाद मयंक जेल भेज दिया गया। इसके बाद एक्सिस बैंक, पिपरिया के पूर्व प्रबंधक राम रघुवंशी, दलित संघ सोहागपुर के सदस्य सुनील कुमार रघुवंशी को गिरफ्तार किया गया। यह दोनों अभी जेल में हैं।