छात्रा के आंख की रोशनी बचाने के लिए आगे आये शिक्षक
# पिंडरा के शिक्षक आर्थिक सहयोग से कराएंगे इलाज
वाराणसी।
नितेश गुप्ता
तहलका 24×7
पिंडरा विकास खण्ड के प्राथमिक विद्यालय चितईपुर में कक्षा 5 की छात्रा शालू (11) की डायबिटीज के चलते आंख की रोशनी चली गयी। इसकी जानकारी शिक्षकों को तब हुई जब उसने स्कूल आना बंद कर दिया। शिक्षक उसके घर पहुंच, स्कूल न आने की जानकारी ली तो सन्न रह गए।शिक्षकों ने मिशन शालू के तहत सहयोग एकत्र कर इलाज कराने का निर्णय लिया।

छात्रा के पिता राहुल राम दिहाड़ी मजदूर और माता शीला गृहणी हैं। बचपन से डायबिटीज के कारण धीरे धीरे उसकी रोशनी कम होती रही। डायबिटीज कम नही होने के कारण डॉक्टर की सलाह पर तीन बार इंसुलिन लेना पड़ रहा है। आर्थिक रूप से कमजोर होने के कारण उसे समय पर इंसुलिन भी नही मिला पाया। इसकी जानकारी जब विद्यालय के प्रधानाचार्य मनीष कुमार सिंह को हुई तो वह विद्यालय के शिक्षकों के साथ ब्लॉक के शिक्षकों से मंत्रणा कर मिशन शालू के तहत धन एकत्रित कर इलाज कराने का निर्णय लिया।

पहले दिन शाम होते होते 25 हजार रुपए इलाज के लिए एकत्र हो गया। अब शालू के इलाज में रुपये की कमी नही आएगी।चितईपुर निवासी व प्राथमिक विद्यालय की गरीब छात्रा के लिए सैकड़ों हाथ उठ खड़े हुए हैं। इसी क्रम में मंगलवार को इलाज के लिए बीएचयू गई और चिकित्सक प्रो. आलोक वर्मा ने डायबिटीज कंट्रोल होने पर आंख के ऑपरेशन कर ठीक करने का आश्वासन दिया। यही नही चिकित्सकों की टीम ने भी हर तरह से मदद का भरोसा दिया।